इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने एक NEET अभ्यर्थी को जाली दस्तावेज जमा करने के लिए जिम्मेदार ठहराया और NTA को कानूनी कार्रवाई करने का निर्देश दिया। यह तब हुआ जब उच्च न्यायालय की लखनऊ पीठ के निर्देश पर राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी ने छात्रा की मूल OMR उत्तर पुस्तिका पेश की, जो सही पाई गई।
छात्रा आयुषी पटेल ने अपनी याचिका में दावा किया कि NTA ने उसे एक संदेश भेजा था जिसमें कहा गया था कि उसका परिणाम घोषित नहीं किया जाएगा क्योंकि उसकी OMR शीट फटी हुई पाई गई थी। उसने सोशल मीडिया पर आरोपों को दोहराते हुए एक वीडियो भी पोस्ट किया था, जिसने स्नातक चिकित्सा प्रवेश परीक्षा NEET के आयोजन में अनियमितताओं के दावों को लेकर चल रहे विवाद के बीच हलचल मचा दी थी।
याचिकाकर्ता ने मांग की थी कि उसकी OMR शीट का मैन्युअल रूप से मूल्यांकन किया जाए। उसने NTA के खिलाफ जांच की भी मांग की थी और प्रवेश के लिए काउंसलिंग को रोकने की मांग की थी।
प्रियंका गांधी ने अभ्यर्थी का वीडियो शेयर किया
कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने आयुषी पटेल का वीडियो शेयर किया था और संस्थानों की जवाबदेही पर सवाल उठाया था। प्रियंका ने एक्स पर कहा, "क्या परीक्षा आयोजित करने वाली एजेंसियों की जवाबदेही तय नहीं होनी चाहिए? क्या सरकार को अपना लापरवाह रवैया छोड़कर परीक्षा प्रणाली पर गंभीरता से विचार नहीं करना चाहिए?"
उन्होंने कहा, "हम अपने युवा मित्रों के सपनों को इस तरह टूटते हुए नहीं देख सकते। उनकी मेहनत के साथ सिस्टम द्वारा किया जा रहा यह अन्याय बंद होना चाहिए। सरकार को इन अनियमितताओं को ठीक करने के लिए गंभीर कदम उठाने होंगे।" भाजपा ने प्रियंका गांधी वाड्रा के खिलाफ की मांग भाजपा ने गलत जानकारी का समर्थन करने और लोगों को गुमराह करने के लिए प्रियंका गांधी वाड्रा के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।
भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता शहजाद पूनावाला ने कहा, "प्रियंका गांधी ने अभ्यर्थी का वीडियो शेयर करते हुए कहा, "क्या प्रियंका वाड्रा पर खुद इस तरह के झूठ को शेयर करने और उसे बढ़ावा देने के लिए मामला दर्ज नहीं होना चाहिए? क्या मीडिया उनसे कोई बुनियादी सवाल भी पूछेगा? क्या मीडिया उनसे पूछेगा कि वह इस तरह के झूठ का इस्तेमाल करके उत्पात क्यों मचा रही थीं? क्या वह बिल्कुल भी जवाबदेह नहीं हैं?"